नई दिल्ली। चार प्रस्तावित थिएटर कमांड को लेकर सशस्त्र बलों के भीतर उस समय कड़वाहट और ज्यादा बढ़ गई जब भारतीय वायु सेना के चीफ एयर चीफ मार्श...
नई दिल्ली। चार प्रस्तावित थिएटर कमांड को लेकर सशस्त्र बलों के भीतर उस समय कड़वाहट और ज्यादा बढ़ गई जब भारतीय वायु सेना के चीफ एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया ने चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत के उस बयान को खारिज कर दिया, जिसमें उन्होंने कहा कि भारतीय वायु सेना एक सहायक शाखा बनी हुई है, जैसे तोपखाना सेना में लड़ाकू हथियारों को सपोर्ट करती है। एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया ने कहा कि ये अकेले सहायक भूमिका नहीं है। वायु शक्ति की एक बड़ी भूमिका है. किसी भी एकीकृत युद्ध क्षेत्रों में, ये अकेले समर्थन का मुद्दा नहीं है। बहुत सारे चीजें किसी भी हवाई योजना में जाती हैं, जो बनाई जाती है और वो मुद्दे हैं जिन पर चर्चा हो रही है। उन्होंने कहा कि सीडीएस एक बड़ा सुधार था। अगला सबसे बड़ा सुधार एकीकृत थिएटर कमांड है और ये बहुत अधिक जटिल है। हम एकीकृत थिएटर कमांड स्थापित करने के लिए हैं, लेकिन हमने जो मुद्दे उठाए हैं, वो हमारी आंतरिक चर्चा में हैं और ये इस बात से संबंधित है कि हमें इसे कैसे करना चाहिए. हमें इसे ठीक करना चाहिए. ये सबसे महत्वपूर्ण सुधार है जिसका युद्ध लडऩे पर प्रभाव पड़ता है।
हमें तालमेल करने में सक्षम होना चाहिए- वायुसेना प्रमुख
उन्होंने इंटीग्रेटेड थिएटर कमांड के लिए अपना विजन दिया और कहा कि आज हमारे पास पहले से ही एक कार्यात्मक प्रणाली है, लेकिन जब हम एक एकीकृत थिएटर कमांड करते हैं, तो हमें अपनी व्यापक राष्ट्रीय शक्ति की रक्षा करने की क्षमता के अगले स्तर तक पहुंचना चाहिए. हमें तालमेल करने में सक्षम होना चाहिए, हमें ऐसी शक्ति स्थापित करने में सक्षम होना चाहिए जो अधिक सहक्रियात्मक हो और जिसमें अधिक लचीलापन हो. हमारे पास अधिक सीमाएं नहीं हो सकती हैं.
भारतीय वायुसेना पूरी तरह से थिएटर कमांड के लिए प्रतिबद्ध
उन्होंने कहा कि भारतीय वायुसेना पूरी तरह से थिएटर कमांड के लिए प्रतिबद्ध है. एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया ने कहा कि लेकिन हमें इसे ठीक करना चाहिए. इससे पहले अंग्रेजी चैनल इंडिया टुडे को दिए साथ एक इंटरव्यू के दौरान जनरल बिपिन रावत ने कहा था कि ये मत भूलो कि भारतीय वायुसेना एक सहायक शाखा बनी हुई है, जैसे तोपखाना या इंजीनियर्स सेना को सपोर्ट करते हैं.
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